शहर में बढ़ती वारदातें
देहरादून जो कभी शांति का प्रतीक था, अब अपराधों का अड्डा बनता जा रहा है। 11 मार्च को रायपुर इलाके में हुई लूट ने पुलिस प्रशासन की कार्यप्रणाली पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं।
कैसे अंजाम दी गई लूट?
बदमाशों ने बेहद सुनियोजित तरीके से वारदात को अंजाम दिया। पहले एक व्यक्ति बिना नकाब के जन सेवा केंद्र में घुसा और संचालक से बातचीत करने लगा। फिर दो और बदमाश हथियारों के साथ पहुंचे और गल्ले में रखे 3.5 लाख रुपये लूटकर स्कूटी से फरार हो गए।
पुलिस की सुस्ती पर सवाल
इस तरह की वारदातें कोई पहली बार नहीं हुई हैं। पुलिस दावा तो करती है कि सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम हैं, लेकिन अपराधियों के बेखौफ होकर घूमने से जनता का कानून-व्यवस्था पर भरोसा डगमगाने लगा है।
सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम क्यों जरूरी?
- सीसीटीवी कैमरों की संख्या बढ़ाई जाए।
- संवेदनशील इलाकों में पुलिस गश्त बढ़ाई जाए।
- आम जनता को जागरूक किया जाए कि ऐसे मामलों में पुलिस को तुरंत सूचित करें।
यदि समय रहते अपराधियों पर नकेल नहीं कसी गई, तो शहर में कानून-व्यवस्था की स्थिति और भी खराब हो सकती है।