तेज रफ्तार वाहन बना काल
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में मंगलवार सुबह एक भीषण सड़क हादसे में तीन महिला श्रद्धालुओं की मौत हो गई। ये महिलाएँ महाकुंभ में स्नान करने के लिए जा रही थीं, लेकिन रास्ते में ही उनकी यात्रा का दुखद अंत हो गया। यह हादसा प्रयागराज के उतरांव थाना क्षेत्र के नागनाथपुर नेशनल हाईवे पर हुआ, जहाँ एक तेज़ रफ्तार अज्ञात वाहन ने उन्हें कुचल दिया।
कैसे हुआ हादसा?
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, तीनों महिलाएँ भोर के समय महाकुंभ में पवित्र स्नान के लिए जा रही थीं। नेशनल हाईवे के किनारे से वे पैदल चल रही थीं, तभी अचानक एक अज्ञात वाहन तेज़ रफ्तार में आया और उन्हें जोरदार टक्कर मार दी। टक्कर इतनी भीषण थी कि तीनों महिलाओं की मौके पर ही मौत हो गई। वाहन इतनी तेज़ गति में था कि रुकने का नाम तक नहीं लिया और भाग गया।
श्रद्धालुओं में मची चीख-पुकार
इस दर्दनाक हादसे के बाद आसपास के श्रद्धालुओं में अफरा-तफरी मच गई। कुछ श्रद्धालु तुरंत महिलाओं की मदद के लिए दौड़े, लेकिन तब तक वे दम तोड़ चुकी थीं। उनकी पहचान नहीं हो सकी, लेकिन माना जा रहा है कि वे किसी गाँव या कस्बे से महाकुंभ में स्नान करने आई थीं।
स्थानीय लोगों का प्रशासन पर आक्रोश
हादसे के बाद स्थानीय लोगों और अन्य श्रद्धालुओं में भारी आक्रोश देखने को मिला। लोगों का कहना है कि हाईवे पर प्रशासन ने श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाए हैं। नेशनल हाईवे के किनारे श्रद्धालु पैदल चलते हैं, लेकिन सुरक्षा की कोई उचित व्यवस्था नहीं है।
पुलिस की कार्रवाई और जाँच
घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस मौके पर पहुँची और शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस ने अज्ञात वाहन के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और सीसीटीवी फुटेज खंगाल रही है ताकि दोषी वाहन चालक की पहचान की जा सके।
श्रद्धालुओं की सुरक्षा पर सवाल
हर साल लाखों लोग महाकुंभ में आते हैं, लेकिन सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं होते। हादसे के बाद श्रद्धालुओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल उठ रहे हैं। प्रशासन को चाहिए कि वह श्रद्धालुओं के लिए विशेष पथ बनाए और हाईवे पर वाहनों की गति को नियंत्रित करने के उपाय करे।
सरकार से मुआवज़े की मांग
स्थानीय निवासियों और श्रद्धालुओं ने मृतक महिलाओं के परिवारों को मुआवज़ा देने की मांग की है। प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि जल्द ही परिवारों को आर्थिक सहायता प्रदान की जाएगी।
क्या ऐसे हादसे रोके जा सकते हैं?
इस घटना ने यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि क्या ऐसे हादसों को टाला जा सकता है? यदि प्रशासन श्रद्धालुओं की सुरक्षा के लिए विशेष मार्ग तैयार करे और तेज़ रफ्तार वाहनों पर नियंत्रण रखे, तो इस तरह की घटनाएँ रोकी जा सकती हैं।